भारत का तिरंगा लहराते हुए देखेंगे लाहौर के लोग

The flag which costs around Rs 3.5 crore can be seen fluttering high in the sky from Lahore's Anarkali Baz


 अगर मैं आप से कहूं कि पाकिस्तान के शहर लाहौर के लोग भारत का तिरंगा लहराते हुए देख सकते हैं तो शायद आपको यकीन नहीं होगा। और अगर मैं ये कहूं कि पाकिस्तान ने मुंबई में हुए 26/11 हमलों में अपनी भूमिका स्वीकार कर ली है। तो शायद आपको बिल्कुल भी यकीन नहीं होगा, लेकिन ये दोनों ही खबरें सच हैं और यकीन करने लायक हैं। सबसे पहले मैं आपको उस भारतीय तिरंगे के बारे में बताना चाहता हूं जिसे लाहौर शहर में रहने वाले लोग भी देख पा रहे हैं। लाहौर के लोग अब अपनी छतों से तिरंगा देख सकेंगे। इस तिरंगे का कद इतना ऊंचा है कि इसने पाकिस्तान की हैसियत को भारत के सामने बहुत ही छोटा कर दिया है।

भारत ने अटारी बॉर्डर पर एक ऐसा झंडा फहराया है। जिसे भारत के अमृतसर और पाकिस्तान के लाहौर शहर से देखा जा सकता है। इस तिरंगे को जिस पोल पर लगाया गया है उसकी ऊंचाई 360 फीट है। जबकि तिरंगे झंडे का साइज 120 फीट ऊंचा और 80 फीट चौड़ा है। अटारी बॉर्डर से लाहौर शहर की दूरी 21 किलोमीटर है। लेकिन ये तिरंगा इतना विशालकाय है, कि इसे लाहौर शहर के अंदर से भी देखा जा सकता है। हमारे राष्ट्र ध्वज को भारत की शान माना जाता है। जब भी कहीं तिरंगा लहराया जाता है तो देश के सैनिकों और भारत के लोगों का सीना गर्व से चौड़ा हो जाता है। लेकिन पाकिस्तान ने शायद ये कभी नहीं सोचा था कि एक दिन भारत ऐसा तिरंगा लहराएगा जिसे उसके अपने लोग भी लाहौर से देख पाएंगे। भारत के तिरंगे का ऊंचा कद देखकर पाकिस्तान सहम गया है। पाकिस्तान का कहना है भारत इस तिरंगे से पाकिस्तान की जासूसी करना चाहता है। पाकिस्तान ये आरोप भी लगा रहा है कि भारत ने बॉर्डर पर तिरंगा लहराकर अंतर्राष्ट्रीय नियमों का उल्लंघन किया है।
लेकिन आपको बता दें कि ये फ्लैग पोस्ट अटारी बॉर्डर से 200 मीटर पीछे है। इसलिए ये अंतर्राष्ट्रीय नियमों के मुताबिक है। अब जब भी पाकिस्तान, भारत को आंख दिखाने की कोशिश करेगा। उसे सबसे पहले तिरंगा झंडा दिखाई देगा। यहां तक कि अगर कोई आतंकवादी लाहौर में अपने अड्डे पर बैठकर भारव विरोधी प्लान बना रहा होगा तब भी उसे भारत का तिरंगा दिखाई देगा। भारत के मोस्ट वांटेड आतंकवादी हाफिज़ सईद को भी लाहौर में मौजूद उसके घर में नज़रबंद रखा गया है। यानी ये तिरंगा हाफिज़ सईद को भी भारत की ताकत का एहसास कराता रहेगा। वैसे हाफिज़ सईद से जुड़ी हुई एक और खबर आज हमारे पास है।

पाकिस्तान के पूर्व राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार महमूद अली दुरानी ने माना है कि 26/11 हमलों में पाकिस्तान का ही हाथ था। दुरानी ने ये बातें दिल्ली में आयोजित 19वीं एशियन सेक्युरिटी कान्फ्रेंस में कही हैं। दुरानी ने कहा कि उन्हें ये स्वीकार करते हुए नफरत होती है कि मुंबई हमलों में पाकिस्तान का हाथ था। लेकिन ये सच है।

महमूद अली दुरानी ने ये भी कहा कि 26/11 के हमले ट्रांस-बार्डर टेररिस्ट इवेंट का जीता जागता उदाहरण हैं। आपको बता दें कि 26 नवंबर 2008 को मुंबई पर 10 आतंकवादियों ने हमला किया था। इन हमलों में 166 लोग मारे गए थे। जिस वक्त ये हमले हुए थे, उस वक्त महमूद अली दुरानी पाकिस्तान के राष्ट्रीय सुरक्षा सलाहकार थे। मुबंई पर हमला करने वाले 10 आतंकवादी पाकिस्तान से आए थे। और हाफिज़ सईद को इन हमलों का मास्टर माइंड माना जाता है।


भारत का सबसे ऊंचा तिरंगा और पाकिस्तान के पूर्व एनएसए का कबूलनामा भारत की दोहरी जीत है। जब भी हाफिज़ सईद लाहौर वाले अपने घर से बाहर निकलेगा उसे भारत का झंडा ज़रूर दिखाई देगा और उसे याद दिलाएगा कि जब भारत का तिरंगा लाहौर तक पहुंच सकता है, तो फिर भारतीय सुरक्षा एजेंसियों के हाथ उसकी गर्दन तक भी पहुंच सकते हैं।




Source news link :-

http://zeenews.india.com/hindi/india/zee-jankari-indias-largest-flag-can-be-seen-from-lahore-in-pakistan/320535

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